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एक राजनेता का आदर्श उदहारण

भारत के अतीत की उप्
भारत के अतीत की उप्
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जय श्री राम
हमारे देश में राजनीती एक व्यापार,धन और शक्ति जुटाने का जरिया है जो देशसेवा के नाम से किया जाता है.स्वन्तार्ता के पहले लोग राजनीती को एक मिशन ,देश और जनता की सेवा के रूप में लेते थे और इसके लिए कोई उपेक्षा नहीं रखते साथ ही हर तरह की देश के लिए कुर्बानी देने के लिए तैयार रहते थे.न जाने कितने लोगो ने देश के लिए अपनी जान दे दी.आज २३ मार्च को शाही भगत सिंह,सुखदेव और राजगुरु की ८४ Vवी शहीद दिवस था जिनके ब्सलिदान के सामने सब नत मस्तक है.गांधीजी को अहसास हो गया था की आजादी के बाद कांग्रेस के लोग देश को उसी तरह लूटेंगे जिस तरह अंग्रेजो ने लूटा था और इसी लिए उन्होंने इसको भंग करने को कहा था जिसे नहीं मन गया.सब लोगो ने देख लिया की किस तरह राजनेताओ ने इसे लूट का साधन बना कर आने वल्ले ५ पीदियो के लिए धन कम लेते किस तरह देश के धन को लूट कर विदेश भेजा जाता और पूरा परिवार ठेके या अनैतिक कार्यो में लग कर मौज कर रहे हैं और आज देश में राजनेताओं को हीन भावना से देखा जाता तथा उनके विरुद्ध बहुत ही आक्रोश है.ऐसे में राजस्थान के एक विधयक ने अपने आचरण से जो उद्धरण पेश किया वह एक आदर्श उदाहरण है जिसकी सरहना सब हो रही है.राजस्थान के टोक जिले से २ बार रहे विधायक हीरा लाल वर्मा है जो ३ विषयो में परस्नातक और गोल्ड मेडलिस्ट है.वे समाज कल्याण विभाग में अफसर रह चुके है.इनके ३ लड़के और एक लडकी है.सबसे बड़ा लड़का पार्षद रह चूका जी व्यापार कर रहा है.दूसरा स्नातक है जो प्रत्योगी परीक्षा की तैयारी कर रहा सबसे छोटा लड़का हंसराज ८ वी पास है जो आजकल गाँव में एक प्राइवेट अस्पताल में ५००० रु /प्रति माह पर कार्य कर रहा है.चाहते तो अपने पद का उपयोग कर इस लड़के के लिए कुछ करवा कर अच्छी जिन्दगी व्यतीत कर सकता था परन्तु अजमेर के कृषि उपज मंडी में एक क्लर्क की नौकरी के साक्षाक्तार के लिए लाइन में साधारण लोगो की तरह खड़ा रहा.इस नौकरी में १७ पदों के लिए ८००० लोगो ने आवेदन दिया था.विधायकजी का कहना है की इस लड़का बहुत पढ़ा और होशियार नहीं इसलिए वो इस नौकरी के लायक है और उम्मीद है की उसकी नियुक्ति हो जायेगी क्योंकि उसका इंटरव्यू अच्छा हुआ है.विध्याक्जी बीजेपी के है और और चाहते तो सिफारिश और पद का उपयोग कर कुछ अच्छा कर सकते परन्तु ऐसा कर उन्होंने ईमानदारी की एक मिशल पेश की जिसकी तारीफ होनी चाइये काश हमारे अन्य नेता उनसे सबक सीख कर ऐसा ही कार्य करे तो देश के तकदीर बदल जाये.हमने पच्छिम से सब गलत आदते सीखी परन्तु राजनातिक नैतिकता और इम्मंदारी नहीं सीखी .विध्याक्जी के लडकी बी.एड.में पढ़ रही है. विधायकजी का कहना है की चूंकि सरकारी नौकरी सुरक्षित होती है जो इसके लिए ठीक रहेगी.उनकी इस पहल का मीडिया में भी खूब तारीफ़ की और फोटो भी दिखाई थी.

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